उत्तराखंड में 20 साल में बढ़े 30 लाख वाहन, स्मूथ और सुरक्षित ट्रैफिक पर देना होगा ध्यान
-राजधानी में पुलिस के सड़क सुरक्षा सप्ताह अभियान का डीजीपी अशोक कुमार ने किया शुभारंभ
-बोले, ट्रैफिक तोड़ने वाले पर सख्ती से हो कार्रवाई, निदेशालय को दिए निर्देश
-राज्यभर में एक माह तक चलेगा अभियान, जन जागरूकता पर देना होगा ध्यान
वैली समाचार, देहरादून।
पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार ने पुलिस लाइन देहरादून में राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा माह 2021 का शुभारंभ किया। इस दौरान डीजीपी ने कहा कि बेहतर ट्रैफिक के लिए हम दो फ्रंट पर काम करते हैं। एक फ्रंट है ट्रैफिक को स्मूथली चलना, जिससे आम लोगों को असुविधा न हो और जाम न लगे।दूसरा फ्रंट है सड़क सुरक्षित हो और लोग अपनी जान कम गवायें। हमें दो दिशाओं में काम करना है। यह काम अब हमारे लिए दिनोंदिन चुनौती बन रहा है। खासकर 2000 में जब उत्तराखण्ड बना तो 4 लाख वाहन थे( दोपहिया और चारपहिया वाहन) आज 20 साल बाद इनकी संख्या 30 लाख हो चुके है। ऐसे में ट्रैफिक कंट्रोल करने के लिए नियमों का सख्ती से पालन कराएं।
ट्रैफिक निदेशालय की ओर से पुलिस लाइन देहरादून में आयोजित कार्यक्रम में डीजीपी अशोक कुमार ने कहा कि सड़क सुरक्षा सम्बन्धित कार्यों को किसी एक विभाग द्वारा ही सफल नहीं बनाया जा सकता है। इसमें सभी विभागों के समन्वय और जनमानस की सहभागिता जरुरी है। साथ ही भविष्य के लिए स्कूलों के पाठ्यक्रम में भी एक अध्याय ट्रैफिक का सम्मिलित होना चाहिए, जिससे बच्चों को भी इसकी पूरी जानकारी अच्छे से हो । कहा कि सड़क दुर्घटना के सबसे बड़े कारणों ड्रंक एंड ड्राइव, ओवर लोडिंग, ओवर स्पीडिंग, मोबाइल पर बात करने तथा स्टंट बाइकिंग के विरुद्ध कार्रवाई करने को कहा। डीजीपी ने साफ कहा कि अगर कोई ट्रैफिक पुलिसकर्मी ट्रैफिक नियम तोड़ने पर सख्त कार्रवाई नहीं करता तो अधिकारी उसके खिलाफ भी कड़ी कार्रवाई करें। उन्होंने पुलिस तथा आम जनमानस से अपेक्षा, अनुरोध तथा अपील की गई कि उत्तराखण्ड और देहरादून को ट्रैफिक की दृष्टि से और सुरक्षित बनाना है तो हम सभी को मिल कर नियमों का पालन करना होगा। उक्त कार्यक्रम के अवसर पर डीजीपी ने यातायात जागरुकता पर बनाये गये ऑडियो एवं वीडीयो का विमोचन किया गया। इससे पहले ट्रैफिक निदेशक केवल खुराना ने राज्यभर में ट्रैफिक निदेशालय की तरफ से चलाये गए अभियान और कार्यक्रम की जानकारी दी गई। उन्होंने ट्रैफिक संचालन में आने वाली मुश्किलों के साथ महत्वपूर्ण जानकारी दी गई। इस मौके पर मेयर सुनील उनियाल गामा ने कहा कि ट्रैफिक नियमों का सभी सख्ती से पालन करें। उन्होंने कहा कि जब लोग अपने घर परिसर को साफ सुथरा रख सकते हैं, तो सड़क और पार्किंग को क्यों नहीं। उन्होंने पार्किंग को लेकर नगर निगम में कुछ महत्वपूर्ण योजनाओं पर काम करने की जरूरत बताई।
राज्य में सड़क दुर्घटना में आई कमी
ट्रैफिक निदेशक केवल खुराना ने कहा कि हमें अभी और प्रयास करने है जिससे सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाई जा सकें। पुलिस महानिदेशक के निर्देशन में लगातार यातायात व्यवस्था के सुधार हेतु यातायात निदेशालय द्वारा प्रयास किये जा रहे है। इसमें मुख्यत: ब्लैक स्पॉट जहाँ पर काफी सड़क दुर्घटनाएँ हुई है इनकी संख्या में कमी लाई गयी है। जो दुर्घटना संभावित क्षेत्र है उनकी पहचान कर ली गई है। उसको गूगल पर मैपिंग करा ली गई है ताकि प्रदेश जो भी यात्री आ रहे है, वह यह देख पाये कि किन-किन स्थानों पर सड़क दुर्घटना की संभावना अधिक है ।
ज़िलों को दी 1200 ई चालान मशीनें
ट्रैफिक निदेशालय ने तकनीकि को बढ़ावा देने की योजना बनाई है। ट्रैफिक कंट्रोल रूम के साथ ही 1200 ई-चालान मशींनों को जनपदों एवं यातायात कर्मिंयों को उपलब्ध करायी गई है। इससे प्रर्वतन की कार्यवाही में तेजी आयेगी। यातायात निदेशालय द्वारा Uttarakhand Traffic Eyes App भी चलाया जा रहा है। आमजन से उम्मीद की जाती है कि इस एप के माध्यम से यातायात नियमों को तोड़ने वालों के इमेज या वीडीयो उपलब्ध कर शिकायत करें । यातायात कर्मियों को भी आमलोगों से अच्छे व्यवहार को बेहतर करना है।
घायल की मदद पर मिलेगा इनाम
इसी के साथ गुड स्मार्टियन के तहत एक शुरुआत की गई है कि जो व्यक्ति घायलों की मदद करेगा उससे कोई पूछताछ नहीं की जायेगी। इसके लिए पूर्व में ही जनपदों को निर्देशित किया जा चुका है । साथ ही मदद करने वालों को सम्मानित भी किया जायेगा। प्रदेश में एम्बुलेंस की संख्या काफी कम है परन्तु सड़कों पर जो भी वाहन चल रहे है अगर वह घायलों की मदद के लिए आते है तो कई जिन्दगीयाँ बचाई जा सकती है । इसलिए यातायात निदेशालय की ओर सभी से निवेदन किया जाता है कि सभी लोग घायलों की मदद करें । ताकि कई जिन्दगीयाँ बचाई जा सके ।
हाईवे पर होगी पेट्रोलिंग की व्यवस्था
भविष्य में हाईवे पर ट्रैफिक पेट्रोलिंग की शुरुआत की जा रही है।ताकि हाईवे में होने वाले सड़क दुर्घटनाओं को बचाया जा सके। ओवर स्पीडिंग एवं ड्रंकन ड्राईविंग में ज्यादा से ज्यादा प्रर्वतन की कार्यवाही की जायेगी। नियम तोड़ने वालों के ड्राईविंग लाईसेंस को कैन्सिलेशन के लिए भेजा जाएगा। ई-चालान एवं Uttarakhand Traffic Eyes App को अन्य पैमेंट एप से जोड़ा जा रहा है। यातायात निदेशालय द्वारा जितने भी सड़क दुर्घटना संभावित क्षेत्र थे उन स्थानों पर कॉनकेव मिरर लगावायें गये है।
कार्यक्रम में ये रहे मौजूद
इस मौके पर एडीजी पीवीके प्रसाद, एडीजी अभिनव कुमार, आईजी श्अमित सिन्हा, वी मुरुगेशन, संजय गुंज्याल, एपी अंशुमान, पीएस रावत, पुष्पक ज्योती, एसएसपी योगेंद्र रावत, एसपी सिटी श्वेता चौबे आदि मौजूद रहे।
रोड रोलर चलाकर उपकरण किए ध्वस्त
मोडिफॉईड साईलेंशर एवं प्रेशर हॉर्न से ध्वनि प्रदूषण अधिक होता है, जो सभी के लिए कष्टकारी है। विशेषकर गर्भवती महिलाओं,बुर्जुगों एवं ह्रदय सम्बन्धी बीमारियों वालों के लिए घातक हो सकता है। इसी को ध्यान में रखते हुए यातायात निदेशालय द्वारा पूर्व में 03 जनवरी 2021 से 15 दिवस का अभीयान भी चलाया गया था। जिसमें 4736 वाहनों का चालान एवं 350 वाहनों को सीज किया गया है। मोडिफॉईड साईलेंशर/ प्रेशर हॉर्न वालों के मोडिफॉईड साईलेंशर/प्रेशर हॉर्न को निकाला गया है ।इन पर उक्त कार्यक्रम में रोडरोलर चलाया गया है। इसका मुख्य उद्देश्य है कि भविष्य में इनका प्रयोग न करें।क्योंकि यह किसी के जीवन के लिए घातक हो सकता है और यह प्राकृतिक जीवों पर भी नकारात्मक प्रभाव डालता है।
32 वां सड़क सुरक्षा माह-2021 के अन्तर्गत जनपद पुलिस द्वारा निर्धारित कार्यक्रम–
*दिनांक 19/01/2021* – MAD(NGO) के साथ यातायात जागरुकता कार्यक्रम तथा स्लोगन / रोड़ साइन का चित्रण कार्यक्रम ।
*दिनांक 20/01/2021 एवं 21/01/2021* – वरिष्ठ नागरिक एवं आमजन के साथ गोष्ठी एवं उत्तराखण्ड ट्रैफिक आईज एप तथा ई-चालान सिस्टम एवं डीएल निरस्तीकरण के साथ-साथ संशोधित मोटरयान के अन्तर्गत प्रशमन शुल्क की जानकारी प्रदान करना ।
*दिनांक 22/01/2021 से 23/01/2021*- Online Competition (निबन्ध, स्लोगन ) ।
*दिनांक 24/01/2021 से 28/01/2021*- परिवहन एवं स्वास्थ्य विभाग के साथ व्यवसायिक वाहनो के चालकों का नेत्र परीक्षण ।
*दिनांक 29/01/2021 से 02/02/2021* – ट्रक / बस / टैक्सी चालकों तथा यूनियन के प्रधानों के साथ गोष्ठी व डीएल निरस्तीकरण तथा मोटर वाहन अधिनियम के अन्तर्गत निर्धारित प्रशमन शुल्क की जानकारी ।
*दिनांक 03/02/2021 से 05/02/2021* – Good Samaritans तथा NGO’s / Stake Holders को प्रोत्साहित हेतु गोष्ठी कर यातायात नियमों की जानकारी प्रदान करना ।
*दिनांक 06/02/2021 से 10/02/2021*- सड़क सुरक्षा एवं सड़क दुर्घटनाओं के सम्बन्ध में सुरक्षा उपायों के क्रम में हेलमेट व सीट बैल्ट का प्रयोग करनें के सम्बन्ध में जन-जागरुकता ।
*दिनांक 11/02/2021 से 14/02/2021*- बिना हेलमेट व सीट बैल्ट का प्रयोग न करनें वाले वाहन चालकों के विरुद्ध चैकिंग अभियान
*दिनांक 15/02/2021 से 16/02/2021* – सड़क दुर्घटना में घायलों की मदद हेतु यातायात कर्मियों / वाहन चालकों के साथ आमजन को प्राथमिक उपचार हेतु प्रशिक्षण की व्यवस्था ।
*दिनांक 17/02/2021* – उक्त सम्पूर्ण कार्यक्रम के दौरान उत्कृष्ठ सहयोगी एवं योगदान के रुप में एनजीओ / स्टेक होल्डर्स तथा स्वतन्त्र सदस्य एवं Good Samaritans को